Meaning of Occult in Hindi - हिंदी में मतलब

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Ayush Rastogi
Mar 07, 2020   •  3 views
  • गुप्त

  • तंत्र मंत्र

  • तंत्र-मंत्र

Synonyms of "Occult"

"Occult" शब्द का वाक्य में प्रयोग

  • In the Vijnana they are neither occult nor siddhis, but the open, unforced and normal play of its nature.
    विज्ञान में वे न तो गुह्य शक्तियां हैं न सिद्धियां, बल्कि उसकी प्रकृति की खुली, स्वेच्छाकृत और स्वाभाविक क्रीड़ा हैं ।

  • The outward matter, life, mind do not possess this occult action of the supermind, even while possessed and compelled by the necessity it imposes on their workings.
    बहिर्मुख जड़ देह, प्राण और मन का अतिमानस की इस गुह्म क्रिया पर स्वत्व नहीं है, यद्यपि वे उस अटल नियम के द्वारा अधिकृत हैं तथा बलात् परिचालित भी होते हैं जिसे यह क्रिया उनके व्यापारों पर थोपती है ।

  • The Yogin ' s aim in the practical sciences, whether mental and physical or occult and psychic, should be to enter into the ways of the Divine and his processes, to know the materials and means for the work given to us so that we may use that knowledge for a conscious and faultless expression of the spirit ' s mastery, joy and self - fulfilment.
    व्यावहारिक विद्याओं में, चाहे वे मानसिक और भौतिक हों अथा गुह्य और आन्त्रात्मिक, योगी का लक्ष्य यह होना चाहिये कि वह भगवान् के तरीकों और उसकी गतिविधियों की तह में जाय और जो काम हमें सौंपा गया है उसी साधन - सामग्री का ज्ञान प्राप्त करे जिससे हम यज्ञ का आरोहण 1 145 आत्मा के रहस्य, आनन्द और आत्म - कृतार्थता को सचेतन और निर्दोष रूप से प्रकट करने के लिये उस ज्ञान को काम में ला सकें ।

  • The Mother later explained that it was due to the hostile powers of the occult world.
    श्री मां ने बाद में इसका कारण बताते हुए कहा कि यह तांत्रिक जगत की आक्रामक शक्तियों के कारण हुआ था ।

  • It may be noted that in verse 35 of the Forty Verses and in verses 15 and 16 of the Supplement, the Maharshi deprecates interest in occult powers as an impediment in the path and a distraction.
    यह बात ध्यान देने योग्य है कि ' चालीसा ' के पद 35 में और ' परिशिष्ट ' के पद 15 और 16 में महर्षि सिद्धियों की निंदा करते हैं और उन्हें मार्ग में बाधक और ध्यान को भटकानेवाले बताते हैं ।

  • The mental awareness we have of our own subjective existence and its movements, though it may point to, is not the same thing as this identity and self - knowledge, because what it sees are mental figures of our being and not the inmost or the whole and it is only a partial, derivative and superficial action of our self that appears to us while the largest and most secretly determining parts of our own existence are occult to our mentality.
    अपनी आभ्यन्तरिक सत्ता और उसकी गतियों के विषय में हमें जो मानसिक बोध है वह यद्यपि इस तदात्मता और आत्म - ज्ञान की ओर संकेत कर सकता है तथापि वह यही चीज नहीं है, क्योंकि जिन चीजों को वह देखता है वह हमारी सत्ता की मानसिक आकृतियां हैं न कि हमारी अन्तरतम या सम्पूर्ण सत्ता, और जो कुछ हमें दिखायी देता है वह हमारी सत्ता की एक आंशिक, गौण एवं ऊपरी क्रियामात्र है जब कि हमारी सत्ता के विस्तृततम भाग, जो अत्यन्त गुप्त रूप से सब चीजों का निर्धारण करते हैं, हमारे मन के लिये गुह्म ही हैं ।

  • These things become in the supramental nature not at all abnormal but perfectly natural and normal, not separately psychic but spiritual, not occult and strange, but a direct, simple, inherent and spontaneous action.
    अतिमानसिक प्रकृति में ये वस्तुएं जरा भी असामान्य नहीं रहतीं, बल्कि पूर्णतया स्वाभाविक एवं सामान्य बन जाती हैं, पृथक् रूप से चैत्य नहीं रहतीं, बल्कि आध्यात्मिक बन जाती हैं, एक गुह्म और विचित्र क्रिया नहीं रहतीं, बल्कि एक सीधी, सरल, स्वाभाविक और स्वयंस्फूर्त क्रिया बन जाती हैं ।

  • For example, because miraculous and occult powers rest with godly men these cannot be regarded as a guarantee of holiness or a distinguishing mark of saints.
    उदाहरण के लिए चूंकि जादुई तथा रहस्यमय शक्तियां धर्मपरायण व्यक्तियों के पास होती हैं, इसलिए इन शक्तियों को पवित्रता की गारंटी अथवा संतो की विशिष्ट पहचान नहीं मान लेना चाहिए ।

  • For the same reason that we are not aware of the inner life of our neighbour, although it exists as much as our own and is constantly exercising an occult influence upon us, for a great part of our thoughts and feelings come into us from outside, from our fellow - men, both from individuals and from the collective mind of humanity ; and for the same reason that we are not aware of the greater part of our own being which is subconscient or subliminal to our waking mind and is always influencing and in an occult manner determining our surface existence.
    उसी कारण से जिस कारण कि हम अपने पड़ोसी के अन्तर्जीवन के प्रति सचेतन नहीं है, यद्यपि वह हमारे अन्तर्जीवन के समान ही अस्तित्व रखता है और हमपर निरन्तर एक गुह्य प्रभाव डाल रहा है, - क्योंकि हमारे विचार और भाव, अधिकांश में, हमारे अन्दर बाहर से ही आते हैं, अर्थात् वे हमारे मनुष्य - भाइयों से, व्यक्तियों तथा मानवजाति के सामूहिक मन - दोनों से आते हैं ; और फिर, अपने पीछे अवस्थित प्राणलोक को हम उसी कारण से नहीं जानते जिस कारण कि हम अपनी सत्ता के उस महत्तर भाग को नहीं जानते जो हमारे जाग्रत् मन के लिये अवचेतन या प्रच्छन्न है और हमारी तलीय सत्ता पर सदैव प्रभाव डाल रहा है तथा गुह्य ढंग से उसका निर्धारण भी कर रहा है ।

  • The occult practices, however, gave her an uncanny insight into physical phe - nomena and a complete equanimity in the presence of dreaded creatures like snakes.
    तांत्रिक अभ्यास 1. क्वैश्चन्स एंड आन्सर्स 1957 तथा 1958 पृष्ठ 340 - 1 के कारण उसे भौतिक घटनाओं को जानने की अलौकिक अंतर्दृष्टि मिल गयी थी ।

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