बुलाना
चीखना
चिल्लाना
चीत्कार
चिल्लाहट
जोऱ से कहना
पुकार करना
पुकारना
पुकार
शोर
चीख
गाली देना
The Day whereon they will surely hear the shout - that is the Day of coming forth.
जिस दिन लोग भयंकर चीख़ को सत्यतः सुन रहे होंगे । वही दिन होगा निकलने का । -
Otherwise, he refuses and say ' Not Out '. The appeal is in the form of a shout when the bowling team is not sure about the result. It usually happens in case of LBW and run out.
अन्यथा वह सिर हिला कर कहता है नॉट आउट. अपील उस समय तेज आवाज में की जाती है जब आउट होने की परिस्थिति स्पष्ट न हो. यह एल बी डबल्यू की स्थिति में हमेशा होता है और अक्सर रन आउट और स्टंप की स्थिति में होता है.
The Day whereon they will surely hear the shout - that is the Day of coming forth.
जिस दिन लोग एक सख्त चीख़ को बाख़ूबी सुन लेगें वही दिन के कब्रों से निकलने का होगा
When you look at them, their persons are pleasing, and when they speak, you pay heed to what they say. But in truth they are beams of timber propped - up. They consider every shout they hear to be directed against them. They are your utter enemies ; guard against them. May Allah do away with them! How are they being turned away ?
तुम उन्हें देखते हो तो उनके शरीर तुम्हें अच्छे लगते है, औरयदि वे बात करें तो उनकी बात तुम सुनते रह जाओ । किन्तु यह ऐसा ही है मानो वे लकड़ी के कुंदे है, जिन्हें खड़ा कर दिया गया हो । हर ज़ोर की आवाज़ को वे अपने ही विरुद्ध समझते है । वही वास्तविक शत्रु हैं, अतः उनसे बचकर रहो । अल्लाह की मार उनपर । वे कहाँ उल्टे फिरे जा रहे है!
But the shout seized them in the morning,
अन्ततः एक भयानक आवाज़ ने प्रातः होते - होते उन्हें आ लिया
O you who have faith! Do not raise your voices above the voice of the Prophet, and do not speak aloud to him like you shout to one another, lest your works should fail without your being aware.
ऐ लोगो, जो ईमान लाए हो! तुम अपनी आवाज़ों को नबी की आवाज़ से ऊँची न करो । और जिस तरह तुम आपस में एक - दूसरे से ज़ोर से बोलते हो, उससे ऊँची आवाज़ में बात न करो । कहीं ऐसा न हो कि तुम्हारे कर्म अकारथ हो जाएँ और तुम्हें ख़बर भी न हो
O ye who believe! Lift not up your voices above the voice of the Prophet, nor shout when speaking to him as ye shout one to another, lest your works be rendered vain while ye perceive not.
ऐ लोगो, जो ईमान लाए हो! तुम अपनी आवाज़ों को नबी की आवाज़ से ऊँची न करो । और जिस तरह तुम आपस में एक - दूसरे से ज़ोर से बोलते हो, उससे ऊँची आवाज़ में बात न करो । कहीं ऐसा न हो कि तुम्हारे कर्म अकारथ हो जाएँ और तुम्हें ख़बर भी न हो
The likeness of those who disbelieve is as the likeness of one who calleth unto that which heareth naught except a shout and cry. Deaf, dumb, blind, therefore they have no sense.
इन इनकार करनेवालों की मिसाल ऐसी है जैसे कोई ऐसी चीज़ों को पुकारे जो पुकार और आवाज़ के सिवा कुछ न सुनती और समझती हो । ये बहरे हैं, गूँगें हैं, अन्धें हैं ; इसलिए ये कुछ भी नहीं समझ सकते
Ye who believe raise not your voices above the voice of the prophet, nor shout loud Unto him in discourse as ye shout loud Unto one another, lest your works may be rendered of non - effect, while ye perceive not.
ऐ ईमानदारों अपनी आवाज़े पैग़म्बर की आवाज़ से ऊँची न किया करो और जिस तरह तुम आपस में एक दूसरे से ज़ोर से बोला करते हो उनके रूबरू ज़ोर से न बोला करो तुम्हारा किया कराया सब अकारत हो जाए और तुमको ख़बर भी न हो
They had taken things for granted and shouted when they had been told to shout, not taking the trouble to understand.
वे हर बात को मान लेते थे, जब उनसे नारे लगाने के लिए कहा जाता, तब बिना कुछ समझने की कोशिश किये वे नारे लगाने लगते Zथे.