Meaning of Mentality in Hindi - हिंदी में मतलब

profile
Ayush Rastogi
Mar 07, 2020   •  0 views
  • मनोवृति

  • मानसिकता

  • मानसिक दशा

Synonyms of "Mentality"

"Mentality" शब्द का वाक्य में प्रयोग

  • Marginal propensity to save is more prominently focused in Indian mentality.
    सीमान्त बचत प्रवृत्ति भारतीय मानसिकता को ज्यादा मुखरता से परिलक्षित कराती है ।

  • The buddhi starts with this material to work on and tries to correct the natural and instinctive by a wiser Purification The Lower mentality 661 reasoned and willed selection ; for obviously the pleasant is not always the right thing, the object to be preferred and selected, nor the unpleasant the wrong thing, the object to be shunned and rejected ; the pleasant and the good, prey as and sreyas, have to be distinguished, and right reason has to choose and not the caprice of emotion.
    बुद्धि इस कार्य - सामग्री को लेकर अपना कार्य शुरू करती है और एक अधिक ज्ञानपूर्ण, तर्कसंगत तथा स्वेच्छाप्रेरित चुनाव के द्वारा स्वाभाविक एवं सहजप्रेरित चुनाव को सुधाने का यत्न करती हे; कारण, यह स्पष्ट ही है कि प्रिय वस्तु सदा सत्य, अधिक वांछनीय एवं वरणीय ही नहीं होती; न अप्रिय वस्तु असत्य, त्याज्य एवं अस्वीकार्य ही होती है; प्रिय और शुभ, प्रेयस् और श्रेयस्, में भेद करना होगा, और चुनाव का कार्य यथार्थ तर्कबुद्धि को करना होगा, न कि आवेश की तरंग को ।

  • This higher mentality and this deeper soul, the psychic element in man, are the two grappling hooks by which the Divine can lay hold upon his nature.
    यह उच्चतर मन और यह गभीरतर आत्मा, अर्थात् मनुष्य के अन्दर स्थित चैत्य तत्त्व दो अंकुश हैं जिनके द्वारा भगवान् उसकी प्रकृति को अपने अधिकार में ला सकते हैं ।

  • It is only when mentality is overpassed and drops away into a passive silence that there can be the full disclosure and the sovereign and integral action of the supramental gnosis.
    जब मानसिक सत्ता का अतिक्रमण हो जाता है और वह निष्क्रिय - नीरवता में डूब जाती है तभी अतिमानसिक विज्ञान पूर्णतया अनावृत होकर अपनी प्रभुत्वपूर्ण और सर्वांगीण क्रिया कर सकता है ।

  • He said: We who have grown up under the influence of Swami Vivekananda on one side and Aurobindo Ghose on the other have, fortunately or unfortunately developed a mentality which does not accept a compromise between points of view so diametrically opposed.
    उन्होंने कहा, हम जो एक ओर स्वामी विवेकानन्द और दूसरी ओर अरविन्द घोष के प्रभावछत्र में बड़े हुए हैं, भाग्य या दुर्भाग्य से ऐसी मानसिकता बना चुके हैं कि ध्रुवों जैसे भिन्न दृष्टिकोणों पर लदा कोई समझौता हमें स्वीकार्य नहीं होता ।

  • The ancient knowledge in all countries was full of the search after the hidden truths of our being and it created that large field of practice and inquiry which goes in Europe by the name of occultism, we do not use any corresponding word in the East, because these things do not seem to us so remote, mysterious and abnormal as to the occidental mentality ; they are nearer to us and the veil between our normal material life and this larger life is much thinner.
    सभी देशों में प्राचीन ज्ञान हमारी सत्ता के गुप्त सत्यों की खोज से भरा हुआ था और इसने साधना और जिज्ञासा के उस विशाल क्षेत्र का निर्माण किया जिसे यूरोप में गुह्यविद्या के नाम से पुकारा जाता है, - पूर्व में हम इसके लिये इस प्रकार का कोई शब्द प्रयुक्त नहीं करते, क्योंकि ये चीजें हमें उतनी दूर, रहस्यमय एवं असामान्य नहीं प्रतीत होतीं जितनी कि पश्चिमी मन को ; हमारे लिये ये अपेक्षाकृत निकट हैं और हमारे साधारण भौतिक जीवन तथा इस विशालतर जीवन के बीच का पर्दा कहीं अधिक पतला है ।

  • A regular development would at first, allowing for some simultaneous manifestation of the four powers, yet create on a sufficiently extensive scale the lower suggestive and critical intuitive mind and then develop above it the inspired and the revelatory intuitive mentality.
    चेतना का नियमित विकास, चारों शक्तियों को कुछ मात्रा में एक साथ अभिव्यक्त करता हुआ भी, पहले पर्याप्त व्यापक प्रमाण में एक संकेतदायी एवं आलोचक अन्तर्ज्ञानात्मक मन के निम्न स्तर का ही निर्माण करेगा और फिर उसके ऊपर अन्तःप्रेरित तथा प्रत्यक्षदर्शक अन्तर्ज्ञानात्मक मन का विकास करेगा ।

  • They seem to be quite the opposite of the truer reality we now experience ; our mentality, stilled and indifferent, no longer strives to know and make real to itself those intermediate terms which exist in them as in us and the knowledge of which has for its utility to bridge over the gulf between the spiritual self and the objective phenomena of the world.
    अब हमें जिस अधिक वास्तविक सद्वस्तु का अनुभव होता है, वे उसके सर्वथा विपरीत प्रतीत होते हैं; हमारा मन शान्त और उदासीन हो जाने के कारण उन मध्यवर्ती स्तरों को जानने और उनका साक्षात्कार करने का अब और यत्न नहीं करता जो हमारी तरह उनमें भी विद्यमान हैं और जिनके ज्ञान का प्रयोजन आध्यात्मिक सत्ता और बाह्य जगत्प्रपच्ञ के बीच की खाई को पाटना है ।

  • It is an attitude which regards these passions of the mind as things born of the illusion of the outward mentality or inferior movements unworthy of the calm truth of the single and equal spirit or a vital and emotional disturbance to be rejected by the tranquil observing will and dispassionate intelligence of the sage.
    यह ऐसी वृत्ति है जो मन के इन आवेशों को बाह्य मन के भ्रम से उत्पन्न वस्तुओं के रूप में देखती है अथवा यह इन्हें एक सम आत्मा के शांत सत्य के आयोग्य हीन गतियों के रूप में या फिर तत्त्वज्ञानी की शान्त ट्रष्ट्री संकल्प - शकित और रागशून्य बुद्धि के द्वारा त्याग देने योग्य प्राणिक और भाविक विक्षोभ के रूप में देखती है ।

  • We need to also reform the mentality of the common citizen.
    हमें आम नागरिक की मानसिकता में भी सुधार लाने की जरूरत है ।

0



  0